Moti Ki Kheti | यदि आप व्यापारिक खेती करने का मन बना रहे है तो फिर आपको मोती की खेती करनी चाहिए क्योंकि इसकी मांग भारतीय बाजारों में बहुत ही ज्यादा है और इस बिजनेस में काफी प्रॉफिट भी है. जानकारी के लिए बता दे इसकी खेती Aqaculture Business का हिस्सा है. वैसे, इस बिजनेस में सीप का पालन किया जाता है. वर्तमान समय में इसकी खेती के लिए सरकार की ओर से किसान भाईयों को प्रोत्साहित किया जा रहा है क्योंकि मोती की खेती करके किसान कम समय में ही लाखों रूपए की कमाई कर सकते है.
प्रिय किसान भाईयों, यदि आप भी मोती की खेती करने की सोच रहे हैं तो यह लेख आपको इसकी खेती से संबंधित पूरी जानकारी जुटाने में मदद कर सकता है. आज इस लेख में हम आपको मोती की खेती कैसे करे? मोती की खेती के लिए उत्तम जलवायु? मोती की खेती का समय? मोती की खेती घर पर कैसे करे? मोती की खेती में लागत व मुनाफा? Moti Ki Kheti आदि सभी बिन्दुओ के बारे में जानकारी देंगे.
मोती की खेती की जानकारी
भारत में मोती की खेती (Moti Ki Kheti) एक महत्वपूर्ण व्यवसाय है जिसमे मोतियों को पैदा करने के लिए शेलीकृत प्रक्रियाएं अपनाई जाती है. इसकी खेती के लिए सामान्यतः सीपियों का उपयोग किया जाता है, जिन्हे नियमित अंडे देने के लिए प्रेरित किया जाता है. इसके बाद, अंडे उत्पन्न होने पर उन्हें धीरे- धीरे उच्च गुणवत्ता वाले मोती में बदल दिया जाता है.
मोतियों को सही रूप से देखभाल करने के लिए उच्चतम गुणवत्ता की शर्तों को बनाए रखने और उन्हें बाजार में बेचने में सफलता प्राप्त करने के लिए खेतीकर्ताओ को नियंत्रण नई तकनीकों और तत्वों की खोज करते रहना चाहिए.
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मोती की खेती का समय
बता दे मोती की खेती करने के लिए सर्दी का समय उपयुक्त होता है यानी आप इसकी खेती अक्टूबर से नवंबर माह तक कर सकते है. इसकी खेती के लिए ठंड का मौसम सर्वोत्तम होता है क्योकि इस मौसम में पानी ठंडा होता है जिससे शीप में मोती बनने के लिए उत्तम तापमान मिल जाता है.
मोती की खेती वाले राज्य
भारत में मोती की खेती सबसे ज्यादा पंजाब, हरियाणा और राजस्थान राज्य में की जाती है. इसके अलावा भी ऐसे कई राज्य है जहां इसकी कम क्षेत्र में खेती की जाती है. वहीं, भारत के अलावा मोती की खेती इंडोनेशिया, जापान, फिलीपींस, फ्रांस, ऑस्ट्रेलिया और चीन जैसे देशों में भी की जाती है.
मोती की खेती के लिए जलवायु
बता दे मोती की खेती के लिए उचित जलवायु और स्वस्थ जल की आवश्यकता होती है. इसके अलावा, इसकी खेती के लिए 20 से 30 डिग्री सेल्सियस तापमान उपयुक्त माना जाता है. इसकी खेती के लिए शुष्कता से बचने के लिए उचित जलस्तर जरुरी है. मोती जल को अपनी शेल में बनाते है इसलिए उचित जलस्तर बनाए रखें.
मोती की उन्नत किस्में
भारत देश में मोती की विभिन्न प्रकार की उन्नत किस्मों की खेती की जाती है. कुछ प्रमुख किस्मो की जानकारी निचे दी गयी है:
- अभ्र मोती
- शंख मोती
- गज मोती
- शूकर मोती
- मीन मोती
- सर्प मोती
- बांस मोती
नोट : अपने क्षेत्र की जलवायु के हिसाब से किस्म का चयन करे.
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मोती की खेती कैसे करें?
यदि आप मोती की खेती (Moti Ki Kheti) करना चाहते है तो आपको निम्न बातों को फॉलो करना होगा, इससे आपको मोती की खेती करने में किसी प्रकार की समस्या नही आएगी. खेती करते वक्त इन बातो का ध्यान रखे:
- मोती की खेती के लिए आपको सबसे पहले फार्म बना लेना है और उस फार्म में आपको तालाब बना लेना है.
- इसके बाद, आपको तालाब में Mussel या फिर पर्ल ऑयस्टर का बीज डाल देना है. फिर प्राप्त mussel या फिर पर्ल ऑयस्टर को प्री-कल्चर के लिए तैयार किया जाता है.
- अब एक को 1 लीटर पानी में 2 से 3 दिन तक रख लेना है, यह प्री-कल्चर कंडीशन सर्जरी के समय काफी मददगार होता है.
- इसके बाद, आपको पर्ल ऑयस्टर का इमप्लिटेशन या फिर ग्राफ्टिंग करना होगा.
- अब आपको इसे ऑपरेटिंग में रखना होगा, इसके लिए नायलॉन बैग लाकर ही उपयोग करना है.
- इसके बाद, आपको इसे तालाब में रखना होगा तथा समय- समय पर तालाब की सफाई करते रहना है.
- आपको पीवीसी पाइप या फिर बांस में नायलॉन बैग को टांगना होता है तथा एक बैग में 2 mussel रख सकते है.
- आपको इस बात का विशेष ध्यान रखना है कि समय- समय पर mussel का निरक्षण करते रहे.
- इसके बाद आप 10 से 12 महीने बाद हार्वेस्टिंग कर सकते है.
- इसके लिए मैंटल टिश्यू या फिर gonad से पर्ल को बैग से बाहर निकाल जाता है.
मोती की खेती से लाभ
भारत में मोती की खेती से कई लाभ होते है उनमें से कुछ मुख्य लाभ है:
- मोती पालन से न सिर्फ आर्थिक लाभ होता है बल्कि यह पर्यावरण की दृष्टि से भी लाभकारी है.
- इसकी खेती से जल प्रदूषण जैसी समस्या को भी कंट्रोल किया जा सकता है.
- मोती एक रत्न है जिसका उपयोग आभूषण बनाने में किया जाता है. वैसे, बाजार में इसकी अच्छी कीमत होती है.
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मोती की खेती में लागत व मुनाफा
बता दे मोती की खेती (Moti Ki Kheti) लगभग 4 से 5 लाख रुपए की लागत आती है, वहीं यदि हम मुनाफा की बात करे तो मोती की कीमत उसकी गुणवत्ता पर निर्भर करती है. एक मोती की कीमत 1000 से 1500 रुपए तक होती है. अच्छी गुणवत्ता वाले तथा अच्छी डिजाइन वाले मोतियों की कीमत 10 हजार रुपए तक की भी होती है. इसके चलते यदि आपको एक की कीमत 1 हजार भी मिले तो आप 100 सिपियो से 1 लाख रुपए तक आसानी से कमा सकते है.
FAQ- ज्यादातर पूछे जाने वाले सवाल
असली मोती कहा से आते है?
असली मोती समुद्र सीपियो तथा मीठे पानी के मसल्स द्वारा बनाए जाते है.
भारत में मोती के लिए कौनसा राज्य प्रसिद्ध है?
हमारे भारत देश में मोती के लिए हैदराबाद प्रांत काफी प्रसिद्ध है.
मोती बनने में कितना समय लगता है?
मोती को शीप में पूरी तरह से तैयार होने में लगभग 10 से 14 माह का समय लगता है.
क्या घर पर मोती की खेती कर सकते है?
जी हां, आप घर पर भी मोती की खेती बाल्टी या फिर मछली के टैंक में आसानी से कर सकते है. आपको ध्यान रखना है कि जिसमे भी आप मोती की खेती करते है उसे आपको समय- समय पर साफ कर लेना है.
भारत में मोती किस समुद्र में पाया जाता है?
भारत में मोती सीप 2 क्षेत्रों में अलग-अलग वातावरण में पाए जाते है. मन्नार की खाड़ी और दूसरा कच्छ की खाड़ी में मोती पाया जाता है.